एलजेपी चीफ चिराग पासवान की यह हसरत पूरी नहीं हुई कि 10 नवंबर के बाद नीतीश कुमार बिहार के सीएम नहीं रहेंगे। जेडीयू नेता ने सोमवार को सातवीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। चुनाव में खुद को ‘मोदी का हनुमान’ बताकर नीतीश कुमार को सीएम की कुर्सी से विदा करने का दम भरने वाले चिराग ने जेडीयू चीफ को चीफ मिनिस्टर बनने की बधाई तो दी है लेकिन लहजा तंज भरा है। ‘कहना कुछ, जताना कुछ’ जैसे अंदाज में उन्होंने उम्मीद जताई है कि सरकार अपना ‘कार्यकाल पूरा’ करेगी और नीतीश ‘एनडीए के ही मुख्यमंत्री’ बने रहेंगे। साथ ही वह यह भी याद दिलाना नहीं भूले कि नीतीश को सीएम की कुर्सी बीजेपी की इनायत है।

चिराग पासवान ने ट्वीट किया, ‘आदरणीय नीतीश कुमार जी को फिर से मुख्यमंत्री बनने की बधाई। आशा करता हूं सरकार अपना कार्यकाल पूरा करेगी और आप एनडीए के ही मुख्यमंत्री बने रहेंगे।’ कार्यकाल पूरा करने की ‘उम्मीद’ के जरिए एक तरह से उन्होंने सरकार की स्थिरता पर ही शक जाहिर कर दिया है। ‘एनडीए के ही मुख्यमंत्री’ में भी चिराग का तंज और संदेह छिपा है जो चुनाव प्रचार के दौरान कई बार कह चुके हैं कि नीतीश नतीजों के बाद फिर बीजेपी को धोखा दे सकते हैं और महागठबंधन का दामन थाम सकते हैं।

चिराग ने अगले ट्वीट में बधाई के बहाने नीतीश को यह याद दिलाया कि वह ‘मुख्यमंत्री बने नहीं, बीजेपी ने बनाया’ है। उन्होंने ट्वीट किया, ‘4 लाख बिहारियों द्वारा बनाया गया #बिहार1stबिहारी1st विजन डॉक्यूमेंट आप को भेज रहा हूं ताकि उसमें से भी जो कार्य आप पूरा कर सकें वह कर दें। एक बार पुनः आप को मुख्यमंत्री बनने की और भारतीय जनता पार्टी को आप को मुख्यमंत्री बनाने के लिए बधाई।’

बिहार में एनडीए से अलग होकर चुनाव लड़ने वाली एलजेपी ने जेडीयू के सभी उम्मीदवारों के खिलाफ अपने उम्मीदवार उतारे थे। चिराग पासवान बार-बार दावा करते रहे कि 10 नवंबर के बाद नीतीश सीएम नहीं रहेंगे और बीजेपी के नेतृत्व में सरकार बनेगी। 10 नवंबर को जब नतीजे आए तो चिराग पासवान की पार्टी सिर्फ 1 सीट ही जीत पाई। हालांकि, जेडीयू तीसरे नंबर की पार्टी बनकर रह गई। 243 सीटों वाली विधानसभा में उसके सिर्फ 43 एमएलए रह गए। बीजेपी को 74 और आरजेडी को 75 सीटें मिलीं। एनडीए 125 सीटों पर जीत दर्ज कर किसी तरह बहुमत हासिल करने में कामयाब हुई।

नीतीश कुमार ने सोमवार को बिहार के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। उन्होंने सातवीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। उनके साथ जेडीयू कोटे से 5 मंत्रियों और बीजेपी कोटे से 7 मंत्रियों ने शपथ ली । ‘हम’ पार्टी से जीतनराम मांझी के बेटे संतोष कुमार सुमन और वीआईपी पार्टी के प्रमुख मुकेश सहनी ने भी मंत्री के तौर पर पद और गोपनीयता की शपथ ली ।