बंगाल चुनाव में अबतक जैसा भाजपा ने चाहा ममता बनर्जी ने भी वही किया। BJP ममता को हिंदुत्व और राष्ट्रवाद के मुद्दे पर घेरती रही और ममता बनर्जी अपने को हिन्दू और देशभक्त दिखाने के लिए एक से बढकर एक कृत्य करती चली जा रही है। ममता बनर्जी ने जिस तरह से नंदीग्राम के अपने आखिरी रैली में राष्ट्रगान बजवाया और राष्ट्रगान के सम्मान में अपनी टूटी टांग पर खड़ी हो गई, यह दिखाने के लिए कि वह सचमुच में देश प्रेमी हैं। इतना तो तय हो गया है कि पश्चिम बंगाल चुनाव में एजेंडा बीजेपी सेट कर रही है और ममता बनर्जी सिर्फ रिएक्ट कर रही हैं।
पश्चिम बंगाल में अभी भले ही 2 ही चरण का चुनाव हुआ है, लेकिन उन्हें उन्हें समझ आ गया है कि जस बार उनकी नैय्या पर लगने वाली नही है। राज्य में आखिरी मतदान 29 अप्रैल को होगा। प्रदेश की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भले ही शेरनी बन कर चुनाव लड़ती दिख रही हैं, लेकिन हार का डर ममता बनर्जी को बुरी तरह सताता दिख रहा है तभी तो वो नंदीग्राम के एक पोलिंग बूथ पाए 2-3 घंटे तक बैठी रही और राज्यपाल तक को फ़ोन कर डाला।
ममता बनर्जी का ये डर लाजमी है क्योंकि ग्राउंड रिपोर्ट भी कुछ इसी ओर इशारा कर रहे है। ABP न्यूज़ के पत्रकार की रिपोर्ट और इस ट्वीट को सही मायने तो 10 में से 10 ग्राउंड रिपोर्टर बता रहे है ममता बनर्जी नंदीग्राम हार रही है! विकाश भदौरिया ने ट्वीट करके नंदीग्राम की हालत बयां की। उन्होंने लिखा, “10 में 10 रिपोर्टर कह रहे है कि ममता बनर्जी नंदीग्राम से हार रही है।
गौरतलब है, कल 31 मार्च को नंदीग्राम की वोटिंग शुरू होने के ठीक एक दिन पहले दीदी ने 15 दलों के नेताओं को पत्र लिख कर बीजेपी के खिलाफ लामबंदी करने की मांग कर डाली है, वह भी राष्ट्रीय परिपेक्ष्य में। दीदी ने बीजेपी पर ढेर सारे आरोप लगा डाले, जैसे की केंद्र की मोदी सरकार गैर-बीजेपी राज्यों से सौतेला व्यवहार कर रही है, बीजेपी से लोकतंत्र और भारतीय संविधान को खतरा है, वगैरह-वगैरह। उनके शिकायतों का पुलिंदा काफी बड़ा है। दिल्ली का भी जिक्र किया और कहा कि चुनी हुई सरकार के खिलाफ उपराज्यपाल के मार्फत केंद्र सरकार दिल्ली को कंट्रोल करना चाहती है।