New Delhi: जब तक इस दुनिया में क्रिकेट रहेगा, ग्लेन मैक्सवेल की इस पारी को याद रखा जाएगा। विश्व क्रिकेट इतिहास की सबसे जीवट पारी। दुनिया ने वर्ल्ड कप 2023 के दौरान मंगलवार रात एक क्रिकेटर का ऐसा साहस देखा, जिस पर आसानी से भरोसा नहीं किया जा सकता। पहले टीम मुश्किल में थी। बाद में खुद मैक्सवेल मुश्किल में नजर आए। चोट लगी, दो-दो बार फीजियो आए, दर्द से छटपटाते हुए मैदान पर धराशायी हो गए। रन लेना तो दूर की बात है चलने में भी दिक्कत आ रही थी, लेकिन मैक्सवेल न रुके ना थके। अपनी मसल पावर पर भरोसा जताया। खड़े-खड़े ही बॉल को स्टैंड्स पर भेजते रहे। अपने चमत्कारिक शॉट्स से अफगानिस्तान का हौसला पस्त करते रहे और अंत में नाबाद 201 रन बनाते हुए ऑस्ट्रेलिया को सेमीफाइनल में पहुंचा दिया।

मुंबई के वानखेड़े स्टेडियम में मंगलवार को टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करते हुए अफगानिस्तान ने निर्धारित 50 ओवर में 291/5 रन बनाए थे। जवाब में ऑस्ट्रेलिया ने एक वक्त में 19 ओवर मेें ही सिर्फ 91 रन पर सात विकेट गंवा दिए थे। अफगानिस्तान की कातिल गेंदबाजी देखकर कोई नहीं कह सकता था कि इस मैच में ऑस्ट्रेलिया का कोई चांस है, लेकिन मैक्सवेल ने कप्तान पैट कमिंस के साथ आठवें विकेट के लिए रिकॉर्ड 202 रन जोड़े।

खड़े-खड़े मारते रहे छक्का
मैच में ग्लेन मैक्सवेल को चार जीवनदान मिले। अगर सयम रहते उनका कैच पकड़ लिया जाता तो अफगानिस्तान इतिहास रच चुका होता, लेकिन मैक्सी ने बता दिया कि उनका विकेट कितना बहुमूल्य है। मैक्सवेल ने 72 गेंदों में शतक तो 128 गेंदों में दोहरा शतक जड़ा। क्रैम्प्स और कमर दर्द के चलते मैक्सवेल को सिंगल-डबल भागने में दिक्कत हो रही थी, ऐसे में उन्होंने सिर्फ चौके-छक्के में डील करने का फैसला लिया। मैक्सवेल ने 47वें ओवर में स्पिनर मुजीब-उर-रहमान को दूसरी, तीसरी और पांचवीं बॉल पर छक्का मारा तो चौथी बॉल पर चौका जमाया। इस तरह ओवर में 22 रन आए।

सेमीफाइनल में ऑस्ट्रेलिया
पैर में जकड़न के बावजूद ग्लेन मैक्सवेल के करियर की सर्वश्रेष्ठ पारी और कप्तान पैट कमिंस के साथ उनकी रिकॉर्ड शतकीय साझेदारी से ऑस्ट्रेलिया विश्व कप के सेमीफाइनल में पहुंच गया।अफगानिस्तान के 292 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए मैक्सवेल (128 गेंद में 201 रन, 21 चौके, 10 छक्के) ने दोहरा शतक जड़ा, जिससे ऑस्ट्रेलिया ने 91 रन पर सात विकेट गंवाने के बावजूद 46.5 ओवर में सात विकेट पर 293 रन बनाकर जीत दर्ज की। मैक्सवेल ने कमिंस (68 गेंद में नाबाद 12) के साथ आठवें विकेट के लिए 202 रन की अटूट साझेदारी की जो एकदिवसीय क्रिकेट के इतिहास में अंतिम तीन विकेट की सबसे बड़ी साझेदारी है। इस साझेदारी में मैक्सवेल के दबदबे का अंदाजा इससे लगता है कि उनका योगदान इसमें 179 रन का रहा। साथ ही यह लक्ष्य का पीछा करते हुए ऑस्ट्रेलिया की विश्व कप में सबसे बड़ी जीत भी है। इस जीत से ऑस्ट्रेलिया के आठ मैच में छह जीत से 12 अंक हो गए हैं और टीम तीसरे स्थान पर है।