तीन कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर किसानों का आंदोलन जारी है। इस बीच कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने गुरुवार (24-12-2020) को 2 करोड़ किसानों के हस्ताक्षर के साथ राष्ट्रपति से मुलाकात की है। इस मुद्दे पर डिबेट के दौरान भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता संबित पात्रा ने कांग्रेस को घेरा। उन्होंने शो के दौरान कहा कि ‘मैं बताता हूं किसानों के 2 करोड़ हस्ताक्षर की हकीकत। रणदीप सिंह सुरजेवाला को हम पांच दिन से देख नहीं पा रहे हैं। एक कमेटी इन्होंने बनाई थी।

आनंद शर्मा, रणदीप सिंह सुरजेवाला, गुलाम नबी आजाद,,इन सब को कमरे में बंद किया था..हस्ताक्षर करो, 2000 हस्ताक्षर..जिस दिन आनंद शर्मा को कमेटी से निकाला वो निकल गये और बोले की मैं हस्ताक्षर नहीं करूंगा…तुम लोगों ने मुझे कमेटी से निकाला है,करो…बेचारे रणदीप सिंह सुरजेवाला 5 दिन से हस्ताक्षर कर रहे हैं…उनकी ऊंगलियां सूज-सूज कर मोटी-मोटी हो गई हैं। अरे, 2 करोड़ हस्ताक्षर अगर राहुल गांधी को मिल गए होते तो क्या उनकी यह हालत होती…फिर से अध्यक्ष बन जाते कांग्रेस पार्टी के।’

आपको बता दें कि राहुल गांधी ने नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसान आंदोलन के समर्थन में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की। उन्होंने मीडिया से बातचीत में कहा कि ‘हम तीन लोग राष्ट्रपति के पास करोड़ों हस्ताक्षर लेकर गए…यह देश की आवाज है। सर्दी का समय है, किसान आंदोलन कर रहे हैं और मर भी रहे हैं। आज मैं एडवांस में बोल रहा हूं किसान और मजदूर के सामने कोई शक्ति खड़ी नहीं हो सकती। अगर कानून वापस नहीं हुए तो सिर्फ आरएसएस और बीजेपी को ही नहीं, देश को भी नुकसान होने जा रहा है।’

उधर मार्च निकालने और राष्ट्रपति से मुलाकात करने की कोशिशों के दौरान प्रियंका गांधी सहित कई कांग्रेस नेताओं को हिरासत में भी ले लिया गया। इधर केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने भी राहुल गांधी पर गुरुवार को निशाना साधा। उन्होंने कहा कि ‘आज जब राहुल गांधी राष्ट्रपति के पास हस्ताक्षर को लेकर अपना विरोध दर्ज कराने गए थे, इन किसानों ने मुझे कहा कि कांग्रेस की तरफ से कोई भी हमारा हस्ताक्षर लेने के लिए नहीं आया।’ केन्द्रीय कृषि मंत्री ने आगे कहा- अगर राहुल गांधी इतने चिंतित थे तो उन्हें उस वक्त किसानों के लिए कुछ करना चाहिए था जब वह सत्ता में थे. कांग्रेस का चरित्र हमेशा किसान विरोधी रहा है।’